भारत-चीन के बीच तनाव जारी है। इस मामले पर विपक्षी पार्टियां सरकार से संसद में चर्चा कराए जाने की मांग कर रही है। इस बीच रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह आज पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के पास जारी गतिरोध को लेकर संसद में बयान दे सकते हैं। संसदीय सूत्रों ने यह जानकारी दी।
बता दें कि इस मुद्दे पर बहस के लिए विपक्ष द्वारा की गई मांगों की पृष्ठभूमि में यह बयान महत्वपूर्ण होगा।
राजनाथ सिंह ने हाल ही में मॉस्को में चीन के रक्षा मंत्री वेई फेंगहे के साथ बैठक की थी। इसके बाद विदेश मंत्री एस जयशंकर की चीन के विदेश मंत्री वांग यी से मुलाकात हुई थी। जयशंकर और वांग यी के बीच हुई बैठक में गतिरोध को खत्म करने के लिए पांच सूत्रीय योजना पर सहमति बनी थी।
सरकारी सूत्रों ने बताया कि इस बीच, केंद्रीय मंत्रिमंडल और आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति की भी मंगलवार दोपहर वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग से मुलाकात होने की संभावना है।
सोमवार से शुरू हुए मानसून सत्र के दौरान, विपक्ष लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा, कोविड-19 स्थिति, आर्थिक मंदी और बेरोजगारी के साथ चीन के साथ गतिरोध से निपटने जैसे मुद्दों पर चर्चा के लिए सरकार पर दबाव बना रहा है।
लोकसभा सत्र के लिए मंगलवार को एक ताजा व्यापार एजेंडा में कहा गया है कि राजनाथ सिंह “लद्दाख में हमारी सीमा पर हुए घटनाक्रम” को लेकर निचले सदन में बयान देंगे।
बता दें कि कांग्रेस और अन्य विपक्षी दलों ने रविवार को स्पीकर ओम बिड़ला की अध्यक्षता में लोकसभा के लिए पहली व्यापार सलाहकार समिति (बीएसी) की बैठक में इन मांगों को उठाया, लेकिन इन पर चर्चाओं के लिए कोई समय आवंटित नहीं किया गया। पहले सप्ताह के व्यापार कार्यक्रम पर चर्चा करने के लिए लोकसभा के लिए बीएसी मंगलवार दोपहर को फिर से आयोजित की जाएगी। वहीं, बीएसी में इसी तरह की मांग कांग्रेस ने राज्यसभा के लिए भी उठाई है।

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