*’उपेन्द्र’ के खुलासे से राजनीतिक गलियारे में हड़कंप*

जनपथ न्यूज डेस्क
Reported by: गौतम सुमन गर्जना
Edited by: राकेश कुमार
24 जनवरी 2023

भागलपुर : उपेन्द्र कुशवाहा ने अपनी पार्टी रालोसपा का 2021 में जदयू में विलय कर बुरी तरह से फंस गए हैं। यही नीतीश कुमार ने पहले कुशवाहा को दल में शामिल कराने को लेकर उऩसे कई राउंड की बातचीत की। इसके बाद जब वे तैयार हो गए तो उन्हें दल में शामिल कराने को लेकर खुद जदयू दफ्तर में मौजूद रहे। जदयू में शामिल कराते ही नीतीश कुमार ने कुशवाहा को पार्टी संसदीय बोर्ड का राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया। उऩकी राजनीतिक हैसियत को भांपते हुए कुछ समय बाद ही विधान पार्षद बनाया। वहीं, नीतीश कुमार अब उपेन्द्र कुशवाहा का मजाक उड़ा रहे है। हालांकि दिल्ली से इलाज कराकर पटना लौटे उपेन्द्र कुशवाहा ने बिना नाम लिए नीतीश कुमार की पोल खोलकर रख दी है। उऩ्होंने यह कहकर राजनीतिक गलियारे में हलचल मचा दी है कि जदयू में जो जितना बड़ा नेता वो उतना ही भाजपा के नजदीक है। उपेन्द्र कुशवाहा ने भले की नीतीश-ललन का नाम नहीं लिया हो लेकिन यह पानी की तरह साफ है कि उपेन्द्र से ऊपर सिर्फ दो नेता राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह और दल के सर्वेसर्वा नीतीश कुमार हैं। कुशवाहा के इस बयान से साफ हो गया है कि नीतीश कुमार एक बार फिर से भाजपा के साथ हाथ मिला सकते हैं। उपेन्द्र कुशवाहा के इस बयान के बाद सहयोगी राजद भी अलर्ट हो गई है।

*जदयू में जो जितना बड़ा नेता वो उतना भाजपा से नजदीक*

भाजपा से नजदीकियों की खबरों पर जवाब देते हुए उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि हमारी पार्टी में जो जितना बड़ा नेता है वो उतना ज्यादा भाजपा के संपर्क में है। उपेंद्र कुशवाहा ने नीतीश का नाम तो नहीं लिया लेकिन जदयू में उनसे बड़े पद पर सिर्फ नीतीश कुमार और ललन सिंह ही हैं। रविवार को दिल्ली से इलाज कराकर लौटे कुशवाहा ने पटना एयरपोर्ट पर कहा था कि हमारी पार्टी ही दो-तीन बार भारतीय जनता पार्टी के संपर्क में गई और फिर संपर्क से हट गई। पार्टी अपनी रणनीति के हिसाब से जो आवश्यक होता है, वह करती है तो मेरे जाने पर चर्चा क्यों…..इसको लेकर अब चर्चा करने का कोई फायदा नही हैं। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि दिल्ली में जो व्यक्ति अस्पताल में 100 फीसदी जिंदा है। उसका पोस्टमार्टम बिहार में लोग कर रहे हैं, यह तो हमने देखा है। मुझको लगता है कि चिकित्सा विज्ञान की सबसे नवीनतम तकनीकी है। कोई व्यक्ति जिंदा सौ फीसदी दिल्ली में भर्ती हो और पोस्टमार्टम किसी दूसरे राज्य में उसका हो रहा है।
गौरतलब है कि शनिवार को नीतीश कुमार ने कुशवाहा को लेकर कहा था कि पहले भी दो-तीन बार बाहर गए और आए हैं। उनसे पूछा गया था कि उपेन्द्र कुशवाहा से भाजपा के नेता मिल रहे हैं। क्या लगता है कि वे भाजपा से संपर्क में हैं ? इस पर सीएम नीतीश ने तपाक से कहा था कि जरा उपेंद्र कुशवाहा जी से कह दीजिए न हमसे बतिया लेंगे। आगे कहा कि वह तो दो-तीन बार बाहर छोड़कर गए, फिर खुद आ भी गए। उनकी क्या इच्छा है हमको नहीं मालूम है। अभी तो उनकी तबीयत खराब है.वे बाहर हैं, पता चला है, फुर्सत मिलने पर हालचाल ले लेंगे.लेकिन कोई बात आ रही है। वैसे तो सबको अपना-अपना अधिकार है। हाल ही में हमसे मिले थे, तो पक्ष में बोल रहे थे। अगर ऐसी कोई बात है तो हम पूछ लेंगे। आने दीजिये तो हम पूछकर बताएंगे कि क्या मामला है?

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