पहले से चौधरी बनने की तैयारी कर ली थी सम्राट ने
जनपथ न्यूज डेस्क
Reported by: गौतम सुमन गर्जना
Edited by: राकेश कुमार
23 मार्च 2023
भागलपुर : भारतीय जनता पार्टी बिहार प्रदेश अध्यक्ष पद पर डॉ. संजय जायसवाल के रहते जिस तरह से विधान परिषद् में प्रतिपक्ष के नेता सम्राट चौधरी की चली थी, उससे यह आसार बन रहे थे। गुरुवार को बिहार भाजपा के नए अध्यक्ष के रूप में आखिरकार सम्राट चौधरी के नाम की घोषणा हो ही गई। विधानमंडल सत्र के दौरान बिहार भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष की कमान सांसद डॉ. संजय जायसवाल से लेकर विधान परिषद् सदस्य सम्राट चौधरी को दिए जाने की जानकारी मिलते ही भाजपा के विधायकों और विधान परिषद् सदस्यों ने उन्हें बधाइयां दीं। इधर, भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता और एमएलसी संजय मयूख ने कहा कि भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा जी ने विधान परिषद् में नेता प्रतिपक्ष सम्राट चौधरी को बिहार भाजपा का प्रदेश अध्यक्ष नियुक्त किया है।
*जिलाध्यक्षों की सूची में सम्राट का रहा था जलवा*
भारतीय जनता पार्टी बिहार प्रदेश के अध्यक्ष के रूप में डॉ. संजय जायसवाल ने इसी महीने 45 संगठन जिलों के अध्यक्ष के नामों की घोषणा की थी। इस सूची को बनाए जाते समय ही सम्राट चौधरी का प्रभाव साफ-साफ दिख रहा था, हालांकि प्रदेश अध्यक्ष के लिए नाम कई और चले थे। भारतीय जनता पार्टी ने आगामी लोकसभा चुनाव के साथ ही अगले विधानसभा चुनाव के हिसाब से ही सम्राट चौधरी को यह अहम जिम्मेदारी दी थी। सम्राट काफी समय से बिहार प्रदेश भाजपा कार्यालय में एक निश्चित अंतराल पर मीडिया से बाकी नेताओं के मुकाबले ज्यादा रू-ब-रू होते रहे हैं।
*जदयू से काफी हील-हुज्जत के बाद आए थे सम्राट*
पूर्व मंत्री शकुनी चौधरी के बेटे सम्राट चौधरी उर्फ राकेश कुमार भाजपा में आने से पहले जनता दल यूनाईटेड (जदयू) में थे। राज्यपाल की ओर से मनोनीत सदस्य के रूप में जदयू ने तब विधान परिषद् में सम्राट की एंट्री कराई थी, जब राज्य में महागठबंधन-1 की सरकार थी। बाद में सम्राट ने जदयू की सदस्यता ले ली। लेकिन, फिर अपने पिता और हिन्दुस्तान आवामी मोर्चा (हम) के प्रदेश अध्यक्ष शकुनी चौधरी के पक्ष में प्रचार के कारण जदयू ने सम्राट से किनारा कर लिया। जीतन राम मांझी की पार्टी हम उस समय जदयू-राजद के खिलाफ बिहार में भाजपा के साथ थी।
*विधान परिषद् की सदस्यता छिनवा दी थी जदयू ने*
जदयू ने सम्राट से न केवल किनारा कर लिया था, बल्कि उन्होंने दल-बदल कानून के आधार पर विधान परिषद् की उनकी सदस्यता भी छिनवा दी थी। समय बदला और फिर नीतीश कुमार भाजपा के साथ आ गए, हालांकि तबतक सम्राट चौधरी ने भाजपा के अंदर अपनी जगह बना ली थी। अब जब एक बार फिर नीतीश कुमार राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के साथ महागठबंधन-2 सरकार चला रहे हैं तो विधान परिषद् के अंदर-बाहर सम्राट चौधरी विपक्ष की सबसे बुलंद आवाज भी माने जाते रहे हैं।
फोटो : बिहार भाजपा के नए प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी
273 total views, 3 views today